राजस्थान की उपमुख्यमंत्री दीया कुमारी ने कहा है कि राजसमंद सांसद के तौर पर मेरी सबसे बड़ी उपलब्धि यह रही कि मैंने हल्दीघाटी में लगे शिलालेख को बदलवाया। पहले शिलालेख पर लिखा था कि हल्दीघाटी का युद्ध अकबर ने जीता था। लेकिन मैंने 2021 में सांसद रहते हुए शिलालेख को बदलने का प्रयास किया। ये स्मारक भारतीय पुरातत्व विभाग (एएसआई) के पास हैं। हम दिल्ली तक गए। उस समय अर्जुनराम मेघवाल जी के पास यह मंत्रालय था। हमने उस शिलालेख को बदलवाया, आज जब आप हल्दीघाटी जाते हैं तो उस शिलालेख पर लिखा होता है कि महाराणा प्रताप ने युद्ध जीता था। उन्होंने कहा- यह मेरे कार्यकाल की सबसे बड़ी उपलब्धि थी। लेकिन शायद यह कोई नहीं जानता। मैंने सोचा कि क्यों न आज इस मंच के माध्यम से सच बताया जाए। क्योंकि लोग बहुत गलत बातें कहते हैं। अब समय आ गया है कि सबको सच बताया जाए। मैं कम बोलती हूं, लेकिन जब बोलती हूं तो बहुत कुछ कहती हूं। दीया कुमारी गुरुवार को महाराणा प्रताप की जयंती पर जयपुर में संघ शक्ति कार्यालय में आयोजित समारोह को संबोधित कर रही थीं।
हम मुगलों द्वारा लिखा गया इतिहास पढ़ रहे थे
दीया कुमारी ने कहा- अब समय आ गया है कि लोगों तक सही इतिहास पहुंचाया जाए। अभी तक हम मुगलों द्वारा लिखा गया इतिहास पढ़ रहे थे। मुगलों ने फूट डालो और राज करो की नीति अपनाई, जो अंग्रेजों ने भी अपनाई। राजपूतों को राजपूतों से लड़ाओ, हिंदुओं को हिंदुओं से लड़ाओ और राज करो।अभी तक हमने यही इतिहास पढ़ा है। यह बहुत दुखद है कि अब तक हमारे देश में जो राजनीतिक दल थे। वे भी यही चाहते थे। उन्होंने भी इसी इतिहास को आगे बढ़ाया। हमने जो किताबें पढ़ीं, उनमें यही लिखा था।अब समय आ गया है कि पीएम मोदी के नेतृत्व में सही इतिहास को जानें और सही इतिहास पढ़ें। मेरे लिए यह गर्व की बात है कि मुझे जनप्रतिनिधि के रूप में मेवाड़ की जनता की सेवा करने का मौका मिला।
मुझे मेवाड़ से जो प्यार मिला, वह मुझे कहीं और नहीं मिला
उपमुख्यमंत्री दीया कुमारी ने कहा- चुनाव के समय पार्टी ने मुझे राजसमंद से चुनाव लड़ने का निर्देश दिया। मुझे लगा कि पता नहीं मैं कैसे लड़ूंगी, कैसे जीतूंगी। वहां मुझे कोई नहीं जानता था। लेकिन मैं वहां गई और मैं आपको यह भी बताना चाहूंगी कि मुझे मेवाड़ के लोगों से जो आशीर्वाद और प्यार मिला, वह मुझे कहीं और से नहीं मिला। मैं जयपुर की बेटी हूं, लेकिन वहां के लोगों ने इतना अच्छा व्यवहार किया, पूरा सहयोग किया। आज भी मुझे उनका आशीर्वाद और प्यार मिलता है।दीया कुमारी ने कहा - उनके प्रयासों से मेवाड़ क्षेत्र के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण योजनाएं स्वीकृत हुईं। इनमें महाराणा प्रताप सर्किट और खेल विश्वविद्यालय की स्थापना शामिल है। यह पहल न केवल क्षेत्र की सांस्कृतिक विरासत को संरक्षित करेगी, बल्कि युवाओं में गर्व और प्रेरणा भी पैदा करेगी।
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