लाइव हिंदी खबर :- सुप्रीम कोर्ट ने देशभर में चल रहे डिजिटल अरेस्ट मामलों को एक साथ CBI को ट्रांसफर करने के संकेत दिए हैं। अदालत ने इस संबंध में CBI से यह स्पष्ट करने को कहा है कि क्या उसके पास ऐसे मामलों की जांच के लिए पर्याप्त तकनीकी विशेषज्ञता और इंफ्रास्ट्रक्चर मौजूद है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इन मामलों में कई राज्यों में अलग-अलग जांच एजेंसियां काम कर रही हैं।

जिससे जांच में एकरूपता और पारदर्शिता की कमी देखी जा रही है। कोर्ट का मानना है कि अगर इन मामलों की जांच एक ही एजेंसी करे, तो डिजिटल अपराधों की सटीक और प्रभावी जांच सुनिश्चित हो सकती है। अदालत ने सभी राज्यों को भी अपने जवाब दाखिल करने के निर्देश दिए हैं, ताकि यह तय किया जा सके कि क्या वे इस प्रस्ताव से सहमत हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि डिजिटल अपराधों की बढ़ती गंभीरता को देखते हुए एक समन्वित तंत्र की आवश्यकता है, जो पूरे देश में समान रूप से काम करे। इस मामले की अगली सुनवाई 3 नवंबर को निर्धारित की गई है। उम्मीद है कि तब तक CBI और राज्यों की ओर से अपने-अपने पक्ष अदालत में प्रस्तुत किए जाएंगे।
You may also like

ChatGPT का काला सच, हर हफ्ते 10 लाख लोग बता रहे आत्महत्या के इरादे, एक मौत के बाद मुकदमा

तुर्की ने पूरा किया पाकिस्तान का वर्षों पुराना सपना, PNS खैबर युद्धपोत पहले फायरिंग ट्रायल में कामयाब, भारत को कितना खतरा?

महात्मा गांधी की प्रतिमा पर केरल में विवाद, चश्मा, डंडा भूले, फिर लगाया, पर चेहरा किसका?

28 अक्टूबर, Morning News Headlines: आज सुबह तक की सभी ताजा खबरें क्रिकेट जगत से

शेयर बाज़ार में अगली अपसाइड मूव की तैयारी, निफ्टी फिर 26000 के पार, इन स्टॉक में हो रही है खरीदारी





