जयपुर: कहते हैं कि नकल में भी अकल होनी चाहिए। यानी अगर आप कोई गलत कार्य कर रहे हैं तो उसमें भी बड़ी सावधान बरती जानी चाहिए। जरा सी लापरवाही आपकी पोल खोल सकती है। जयपुर के जयसिंहपुरा खोर थाना क्षेत्र में एक ऐसी घटना सामने आई जो आपको हैरान कर देगी। एक युवक ने पुलिस कंट्रोल रूम के नंबर पर कॉल करके सूचना दी कि उसके साथ लूट की वारदात हो गई। दो गाड़ियों में आए बदमाश उससे बैग लूट कर ले गए। बैग में दो लाख रुपए नकद होना बताया था।
गणित में कमजोर था तो खुल गई पोलदो लाख रुपए की लूट की सूचना मिलते ही कंट्रोल रूप से स्थानीय पुलिस को सूचना दी गई। डीसीपी नॉर्थ राशि डोगरा डूडी ने थाना प्रभारी मुकेश कुमार को मौके पर पहुंचने के निर्देश दिए। पुलिस के अधिकारी मौके पर पहुंची। घटनास्थल का मौका मुआयना किया। घटनास्थल के आसपास लगे सभी सीसीटीवी खंगाले गए। पुलिस ने पीड़ित व्यक्ति से पूछा कि लूटे गए बैग में कितने रुपए थे। पीड़ित बोला - दो लाख रुपए। पुलिस ने पूछा कि कितने कितने के नोट थे। इस पर परिवादी बोला कि 500-500 रुपए के नोटों की दो गड्डियां थी। बस यहीं पर वह गच्चा खा गया और उसकी पोल खुलने लगी।
झूठ बोलने से पहले नहीं लगाया हिसाबडीसीपी नॉर्थ राशि डोगरा डूडी ने बताया कि शनिवार 5 जुलाई को सियाराम मीणा नामक युवक ने पुलिस कंट्रोल रूम में कॉल करके लूट की वारदात होने की सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची तो घटना स्थल पर लूट की वारदात होने जैसे कोई साक्ष्य नहीं मिले। शक होने पर पुलिस ने सियाराम मीणा से पूछा कि कितने कितने के नोट थे। इस पर सियाराम मीणा बोला कि 500-500 रुपए की दो गड्डियां थी। पुलिस ने कहा कि 500-500 रुपए की दो गड्डियां होने पर तो एक लाख रुपए ही होते है। दो लाख रुपए के लिए तो 500-500 रुपए की चार गड्डियां होनी चाहिए थी। इस पर सियाराम मीणा सकपका गया। बाद में उसे पुलिस थाने ले जाकर पूछताछ की तो उसने लूट की झूठी सूचना देना स्वीकार किया। पुलिस को झूठी सूचना देने पर सियाराम मीणा को गिरफ्तार कर लिया गया।
सट्टे में 1.60 लाख रुपए हार गया थापुलिस पूछताछ में पता चला कि सियाराम मीणा ऑनलाइन सट्टा खेलता था। ऑनलाइन सट्टे के लिए उसने अपने परिचित मोहित से 1,60,000 रुपए उधार लिए। इन रुपयों से ऑनलाइन सट्टे की आईडी खरीदी। सट्टे में सियाराम रुपए गंवा बैठा। उधर मोहित उससे उधार दिए गए रुपए वापस देने के लिए दबाव बना रहा था। ऐसे में सियाराम ने लूट की झूठी सूचना दे दी थी।
गणित में कमजोर था तो खुल गई पोलदो लाख रुपए की लूट की सूचना मिलते ही कंट्रोल रूप से स्थानीय पुलिस को सूचना दी गई। डीसीपी नॉर्थ राशि डोगरा डूडी ने थाना प्रभारी मुकेश कुमार को मौके पर पहुंचने के निर्देश दिए। पुलिस के अधिकारी मौके पर पहुंची। घटनास्थल का मौका मुआयना किया। घटनास्थल के आसपास लगे सभी सीसीटीवी खंगाले गए। पुलिस ने पीड़ित व्यक्ति से पूछा कि लूटे गए बैग में कितने रुपए थे। पीड़ित बोला - दो लाख रुपए। पुलिस ने पूछा कि कितने कितने के नोट थे। इस पर परिवादी बोला कि 500-500 रुपए के नोटों की दो गड्डियां थी। बस यहीं पर वह गच्चा खा गया और उसकी पोल खुलने लगी।
झूठ बोलने से पहले नहीं लगाया हिसाबडीसीपी नॉर्थ राशि डोगरा डूडी ने बताया कि शनिवार 5 जुलाई को सियाराम मीणा नामक युवक ने पुलिस कंट्रोल रूम में कॉल करके लूट की वारदात होने की सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची तो घटना स्थल पर लूट की वारदात होने जैसे कोई साक्ष्य नहीं मिले। शक होने पर पुलिस ने सियाराम मीणा से पूछा कि कितने कितने के नोट थे। इस पर सियाराम मीणा बोला कि 500-500 रुपए की दो गड्डियां थी। पुलिस ने कहा कि 500-500 रुपए की दो गड्डियां होने पर तो एक लाख रुपए ही होते है। दो लाख रुपए के लिए तो 500-500 रुपए की चार गड्डियां होनी चाहिए थी। इस पर सियाराम मीणा सकपका गया। बाद में उसे पुलिस थाने ले जाकर पूछताछ की तो उसने लूट की झूठी सूचना देना स्वीकार किया। पुलिस को झूठी सूचना देने पर सियाराम मीणा को गिरफ्तार कर लिया गया।
सट्टे में 1.60 लाख रुपए हार गया थापुलिस पूछताछ में पता चला कि सियाराम मीणा ऑनलाइन सट्टा खेलता था। ऑनलाइन सट्टे के लिए उसने अपने परिचित मोहित से 1,60,000 रुपए उधार लिए। इन रुपयों से ऑनलाइन सट्टे की आईडी खरीदी। सट्टे में सियाराम रुपए गंवा बैठा। उधर मोहित उससे उधार दिए गए रुपए वापस देने के लिए दबाव बना रहा था। ऐसे में सियाराम ने लूट की झूठी सूचना दे दी थी।
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